सरकार दे रही है सोलर पंप पर 60% तक की सब्सिडी | जाने किस राज्य की सरकार दे रही है

सरकार दे रही है सोलर पंप पर 60% तक की सब्सिडी | जाने किस राज्य की सरकार दे रही है

किसानों की आय बढ़ाने और खेती को लाभदायक बनाने के लिए राज्य सरकारें लगातार नए-नए कदम उठा रही हैं। इनमें से एक महत्वपूर्ण पहलू है कृषि यंत्रों पर अनुदान देना। इससे किसान सस्ते दामों पर आधुनिक कृषि उपकरण खरीद पाते हैं और अपनी खेती की उत्पादकता बढ़ा सकते हैं। लेकिन खेती में सिंचाई का बहुत महत्व है। इसीलिए राज्य सरकारें किसानों को सिंचाई के लिए पर्याप्त पानी उपलब्ध कराने के लिए कई योजनाएं चला रही हैं। इनमें से एक प्रमुख योजना है सोलर पंपों पर सब्सिडी देना। सोलर पंपों के इस्तेमाल से किसान बिजली पर निर्भर रहने से मुक्त हो जाते हैं और उन्हें सिंचाई के लिए पर्याप्त पानी मिल जाता है। हाल ही में शुरू की गई प्रधानमंत्री कुसुम योजना 2025 कंपैक्ट बी के तहत किसानों को सोलर पंप लगवाने पर 60% का अनुदान दिया जा रहा है। ये सभी योजनाएं किसानों की आर्थिक स्थिति को मजबूत बनाने और देश की कृषि को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम हैं।

सरकार दे रही है सोलर पंप पर अनुदान

राजस्थान सरकार ने किसानों के लिए एक नई योजना शुरू की है जिसका उद्देश्य उन्हें बिजली के बिलों और डीजल के खर्च से मुक्ति दिलाना है। यह योजना देश के अन्य हिस्सों में भी चल रही है, लेकिन राजस्थान सरकार विशेष रूप से हरित ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है। इस योजना के तहत, यदि कोई किसान अपने खेत में सोलर कनेक्शन लगवाना चाहता है, तो उसे कुल लागत का केवल 40% ही वहन करना होगा। शेष 60% की राशि सरकार अनुदान के रूप में देगी। इस पहल से न केवल किसानों की आर्थिक बोझ कम होगा बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी योगदान होगा।

सोलर पंप सेट कनेक्शन पर कितना मिलेगा अनुदान

राज्य सरकारें ग्रीन एनर्जी को बढ़ावा देने के लिए काफी गंभीर हैं। इस दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम के तौर पर, कई राज्य सरकारें किसानों को सोलर पंप लगवाने पर सब्सिडी दे रही हैं। यह पहल न केवल पर्यावरण के लिए फायदेमंद है बल्कि किसानों के लिए भी आर्थिक रूप से लाभदायक है। राजस्थान इस दिशा में एक उल्लेखनीय उदाहरण है। राज्य सरकार किसानों को सोलर पंप लगवाने पर 40% तक की सब्सिडी दे रही है। इसका मतलब है कि किसानों को 3.5 एचपी से 7.5 एचपी तक के सोलर पंप सिर्फ 40% खर्च करके लगवा सकते हैं। इससे किसानों को बिजली बिल और डीजल के खर्च से मुक्ति मिलती है, जिससे उनकी आय में वृद्धि होती है। साथ ही, सोलर पंप से सिंचाई करने में काफी समय की बचत होती है, जिससे किसान अन्य कृषि कार्यों पर ध्यान केंद्रित कर सकते हैं।

सोलर पंप योजना के लिए पात्रता कोन है

इस योजना के तहत आवेदन करने के लिए किसानों को कुछ आवश्यक दस्तावेजों के साथ आवेदन करना होगा। जिन किसानों के पास ड्रिप या स्प्रिंकलर सिंचाई सिस्टम है और जो डीजल पंप का उपयोग करते हैं, उन्हें एक शपथ पत्र देना होगा जिसमें यह घोषित किया जाएगा कि उनके पास ये सुविधाएं हैं। योजना में लाभ लेने के लिए किसानों के पास न्यूनतम 0.4 हेक्टेयर भूमि होना अनिवार्य है। हालांकि, अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के किसानों के लिए यह सीमा थोड़ी कम है। इन वर्गों के किसानों को तीन से पांच हॉर्स पावर का वाटर पंप सेट लगवाने के लिए न्यूनतम 0.2 हेक्टेयर भूमि होना पर्याप्त होगा। इस योजना के तहत लघु और सीमांत किसानों को अधिक प्राथमिकता दी जाएगी।

इस योजना के तहत आवेदन कैसे करते है

इस योजना के तहत किसानों को ऋण, बीमा, या अन्य प्रकार की सहायता प्रदान की जा सकती है। फरवरी के अंत तक किसान राज्य सरकार के साथी पोर्टल या ई-मित्र केंद्र पर जाकर आवश्यक दस्तावेजों के साथ अपना आवेदन जमा कर सकते हैं। आवेदन प्रक्रिया बहुत ही सरल है और किसान आसानी से इस योजना का लाभ उठा सकते हैं।

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